संयुक्त राष्ट्र: दो मई ( शोभना जैन/वीएनआई) इजरायल और हमास के बीच चल रहे भीषण युद्ध के बीच भारत ने आज इजरायल-फिलिस्तीन पर दो राज्य के अपने सिद्धांत के प्रति प्रतिबद्धता दोहराते हुये उम्मीद जताई कि संयुक्त राष्ट्र का पूर्ण सदस्य बनाए जाने के फलस्तीन के जिस आवेदन के खिलाफ अमेरिका ने पिछले महीने वीटो का इस्तेमाल किया था, उस पर पुनर्विचार किया जाएगा और संयुक्त राष्टृ का सदस्य बनने की उसकी कोशिश को समर्थन मिलेगा।
संयुक्त राष्ट्र में फिलिस्तीन की सदस्यता के प्रस्ताव पर वीटो को लेकर हुई बैठक में भारत ने फिलिस्तीन की सदस्यता का खुलकर समर्थन किया। भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने कहा, भारत इजरायल और फिलिस्तीन के रूप में दो राज्य का समर्थन करने के लिए हमेशा की तरह प्रतिबद्ध है। प्रेक्षकों की राय में भारत के इस कदम को इजरायल के लिए एक झटके के रूप में देखा जा रहा है, जिसके प्रधानमंत्री फिलिस्तीनी राज्य को खतरे के रूप में देखते हैं.
भारत ने आज इजरायल और फिलिस्तीन के लिए दो राज्य समाधान के लिए ्भारत की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए संयुक्त राष्ट्र का सदस्य बनने के लिए फिलिस्तीन के प्रयासों का समर्थन किया। संयुक्त राष्ट्र की एक बैठक में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने कहा, "भारत दो राज्य समाधान का समर्थन करने के लिए प्रतिबद्ध है, जहां फिलिस्तीनी लोग इजरायल की सुरक्षा जरूरतों को ध्यान में रखते हुए सुरक्षित सीमा के भीतर एक स्वतंत्र देश में स्वतंत्र रूप से रहने में सक्षम हैं।" उन्होंने संयुक्त राष्ट्र में फिलिस्तीन के आवेदन पर पुनर्विचार करने की बात कही।
फिलिस्तीन ने पिछले दिनों संयुक्त राष्ट्र की सदस्यता के लिए आवेदन किया था, जो अमेरिका के वीटो के चलते पास नहीं हो सका था। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कंबोज ने कहा, "भारत की दीर्घकालिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए हम आशा करते हैं कि उचित समय पर इस पर पुनर्विचार किया जाएगा और संयुक्त राष्ट्र का सदस्य बनने के फिलिस्तीन के प्रयास को समर्थन मिलेगा।" उन्होंने बताया कि भारत ने इस मामले पर महासभा के दसवें आपातकालीन विशेष सत्र की पूर्ण बैठक बुलाने के महासभा के इरादे पर गौर किया है और इसमें सक्रिय रूप से भाग लेगा।
कंबोज ने गत वर्ष 7 अक्टूबर को इजरायल के ऊपर हमास के हमले की निंदा की। उन्होंने कहा, "आतंकवाद और बंधक बनाने को कतई सही नहीं ठहराया जा सकता है। आतंकवाद के सभी रूपों के खिलाफ भारत का समझौता न करने वाला रुख रहा है और हम सभी बंधकों की तत्काल और बिना शर्त रिहाई की मांग करते हैं।" इसके साथ ही उन्होंने गाजा में अंतरराष्ट्रीय कानूनों और मानवीय कानूनों का हर हाल में सम्मान करने को कहा। कंबोज ने कहा, इजरायल और हमास के बीच संघर्ष के कारण बड़े पैमाने पर नागरिकों, विशेषकर महिलाओं और बच्चों की जान चली गई है और मानवीय संकट पैदा हो गया है, जो बिल्कुल अस्वीकार्य है।
उन्होंने गाजा में मानवीय सहायता को बढ़ाने की बात कही। उन्होंने कहा, स्थिति को बिगड़ने से रोकने के लिए गाजा के लोगों को मानवीय सहायता तुरंत बढ़ाए जाने की जरूरत है। उन्होंने सभी से साथ आने का आग्रह करते हुए कहा, हम इस संबंध में संयुक्त राष्ट्र और अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के प्रयासों का स्वागत करते हैं। भारत ने फिलिस्तीन के लोगों को मानवीय सहायता प्रदान की है और आगे भी करता रहेगा. वी एन आई