नई दिल्ली, 24 जनवरी, (वीएनआई) छत्तीसगढ़ की बघेल सरकार ने आंतरिक सुरक्षा व्यवस्था अधिनियम यानि मीसा के तहत हिरासत में लिए गए लोगों को पेंशन देने की योजना को खत्म कर दिया है।
सरकार की ओर से बीते गुरुवार को एक गैजेट नोटिफिकेशन जारी किया गया है जिसमे कहा गया है कि लोकनाथ जयप्रकाश नारायण सम्मान निधि रूल, 2008 को खत्म किया जा रहा है। इस स्कीम का मकसद उन लोगों को पेंशन देना था जिन्हें मीसा के तहत आपातकाल में 25 जन 1975 से 31 मार्च 1977 तक जेल भेजा गया था। इस योजना के तहत उन लोगों को पेंशन दी जाती थी जिन्होंने आपातकाल के दौरान मीसा के तहत तीन महीने तक जेल में बिताया हो। इन लोगगों को हर महीने 10000 रुपए की पेंशन दी जाती थी।
गौरतलब है मीसा के तहत जिन लोगों को आपातकाल के दौरान हिरासत में लिया गया था, उन्हें पेंशन दिए जाने की योजना की शुरुआत भारतीय जनता पार्टी सरकार ने की थी। लेकिन अब कांग्रेस सरकार ने इस पेंशन को खत्म करने का फैसला लिया है। वहीं कांग्रेस सरकार के इस फैसले का भाजपा विरोध कर रही है। भारतीय जनता पार्टी ने फैसला लिया है कि वह सरकार के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएगी।
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