नई दिल्ली 7 दिसंबर (वीएनआई) आज लिकर किंग के नाम से मशहूर विजय माल्या की कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस की संपत्ति की नीलामी भारतीय स्टेट बैंक के नेतृत्व में 17 बैंकों का एक समूह करेगा किंगफिशर पर बैंकों का आठ हज़ार करोड़ रुपया बक़ाया है. साल 2013 के बाद से इस कंपनी ने बैंकों को कोई रक़म नहीं दी है.
गौरतलब है कि लिकर किंग के नाम से मशहूर विजय माल्या की कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस अक्टूबर 2012 से ही ग्राउंडेड है। जनवरी 2014 तक उस पर बैंकों की देनदारी 69.63 अरब रुपए की थी जिस पर बैंक 15.5 प्रतिशत ब्याज जोड़ रही है, नीलामी ऑनलाइन होगी। इसमें एयरलाइंस की कारें और भारी सामान खींचने में इस्तेमाल होने वाले ट्रक समेत कुछ संपत्तियां बेची जाएंगी। लिकर किंग विजय माल्या की कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस अक्टूबर 2012 से बंद पड़ी है। जनवरी 2014 तक उस पर बैंकों की 6,963 करोड़ रुपए की देनदारी थी। सबसे ज्यादा देनदारी एसबीआई की है। इसके अलावा हर प्रमुख बैंक को माल्या से पैसे वसूलने हैं।
उल्लेखनीय है कि सबसे ज्यादा देनदारी भारतीय स्टेट बैंक की है जबकि इसके बाद पंजाब नेशनल बैंक, आईडीबीआई बैंक, बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ बड़ौदा, यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, यूको बैंक, कॉर्पोरेशन बैंक, स्टेट बैंक ऑफ मैसूर, इंडियन ओवरसीज बैंक, फेडरल बैंक, पंजाब एंड सिंध बैंक तथा एक्सिस बैंक की पूंजी भी कंपनी में फंसी हुई है।
इन सभी बैंकों ने कंसोर्टियम बनाकर कंपनी को पैसा दिया था। वहीं, कंसोर्टियम से बाहर की कंपनियों में सेरी इंफ्रास्ट्रक्चर फाइनेंस, जम्मू एंड कश्मीर बैंक तथा ऑरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स शामिल हैं।
लगभग दो साल की कानूनी लड़ाई के बाद इस साल के आरंभ में न्यास को कभी देश की नंबर दो विमान सेवा कंपनी रही ङ्क्षकगफिशर एयरलाइंस की डेढ़ करोड़ डॉलर की संपत्ति पर कब्जा मिल गया था। कुछ दिन पूर्व न्यास की वेबसाइट पर जारी नोटिस में कहा गया है कि वह एयरलाइंस की कारें तथा भारी सामान खींचने के लिए इस्तेमाल होने वाले ट्रक फोर्कलिफ्ट समेत कुछ संपत्तियां बेचेगी।