भारत की संप्रभुता संबंधी चिंतायों पर चीन की अनदेखी पर भारत ने जताया कड़ा विरोध, भारत ने कि्या चीन की 'वन बेल्ट एंड वनरोड फोरम'मे हिस्सेदारी से इंकार

By Shobhna Jain | Posted on 14th May 2017 | देश
altimg
बीजिंग,14 मई ( शोभना जैन/वीएनआई) भारत ने चीन पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) को लेकर दो टूक शब्दो मे देश की संप्रभुता संबंधी चिंता के चलते चीन के 'वन बेल्ट एंड वनरोड फोरम' की बैठक मे हिस्सेदारी को खारिज कर दिया है. भारत ने कड़े शब्दो मे कहा 'कोई भी देश ऐसी परियोजना को स्वीकार नहीं कर सकता जिसमें उसकी संप्रभुता एवं भूभागीय एकता संबंधी प्रमुख चिंताओं की उपेक्षा की गई हो. भारत की इस आर्थिक गलियारे को ले कर तीव्र आपत्ति रही है. कल रात विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने इस बैठक से पूर्व एक बयान जारी करके ने कहा था 'कोई भी देश ऐसी परियोजना को स्वीकार नहीं कर सकता जिसमें उसकी संप्रभुता एवं भूभागीय एकता संबंधी प्रमुख चिंताओं की उपेक्षा की गई हो.' भारत ४६ अरब डॉलर् के इस गलियारे का विरोध करता रहा है क्योंकि इस गलियारे मे पाक अधिकृत कश्मीर का स्थान भी शामिल है. भारत समय समय पर पाक कब्जे वाले कश्मीर के हिस्से मे चीन की निर्माण गतिविधियो पर आपत्ति जाहिर करता रहा है. ऐसा माना जा रहा है कि इन परियोजनाओ के जरिये चीन की एशिया मे इन परियोजनाओ के जरिये अपना प्रभाव क्षेत्र बनाने की सजिश है 'बेल्ट एंड रोड फोरम' (बीआरएफ) बैठक में 29 देशों और सरकारों के प्रमुखों ने हिस्सा लिया जिनमें अमरीका और जापान के प्रतिनिधियो के अलावा पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ, श्रीलंका के प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे और अन्य दक्षिण एशियाई देशों के आधिकारिक प्रतिनिधिमंडल शामिल थे, जबकि पड़ोसी देश भूटन इस मे हिस्सा नही ले रहा है.समारोह को चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने संबोधित किया. रूस, अमेरिका, जापान, ब्रिटेन, जर्मनी और फ्रांस सहित विभिन्न देशों के नेताओं और अधिकारियों ने समारोह में हिस्सा लिया.चीन इस परियोजना के तहत एशिया और योरोप मे लगभग ५०० अरब डॉलर की आधारभूत परियोजनाये लगाने के प्रस्ताव रखे है कड़े शब्दों में जारी एक बयान में भारत ने कहा था कि संपर्क संबंधी पहल (कनेक्टिविटी इनीशिएटिव) को इस तरीके से आगे बढ़ाया जाना चाहिए कि संप्रभुता एवं भूभागीय एकता का सम्मान हो. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने एक बयान में कहा था 'इस मामले में हमारी सैद्धांतिक स्थिति के मुताबिक हम चीन से उसकी संपर्क संबंधी पहल 'वन बेल्ट, वन रोड' पर एक सार्थक बातचीत करने का अनुरोध करते हैं जिसका नाम बाद में बदल कर 'बेल्ट एंड रोड इनीशिएटिव' कर दिया गया. हमें चीन की ओर से सकारात्मक प्रतिक्रिया का इंतजार है.'

Leave a Comment:
Name*
Email*
City*
Comment*
Captcha*     8 + 4 =

No comments found. Be a first comment here!

ताजा खबरें

Connect with Social

प्रचलित खबरें

© 2020 VNI News. All Rights Reserved. Designed & Developed by protocom india