लंदन,14 मार्च (वीएनआई) शहर के बीचोबीच पार्लियामेंट स्क्वायर पर आज बापू के सबसे प्रिय भजन ‘रघुपति राघव राजा राम’ सुमधुर गायन के साथ भावनात्मक माहौल मे महात्मा गांधी की ऐतिहासिक कांस्य प्रतिमा का अनावरण किया गया.इसे ब्रिटिश सरकार द्वारा महात्मा गांधी को दिए गए एक\' दुर्लभ सम्मान\' के तौर पर देखा जा रहा है, जो भारत में अपने औपनिवेशिक शासनकाल में उनकी कट्टर विरोधी रही थी। यह प्रतिमा पैलेस ऑफ वेस्टमिंस्टर में स्थित ब्रिटिश संसद के सदनों के ठीक सामने लगाई गई है।इस अवसर पर ब्रिटिश प्रधान मंत्री ने कहा\'इस मूर्ति को यहां लगाकर हम महात्मा गांधी को हमेशा के लिए अपने देश में स्थापित कर रहे.\'
भारत के राष्ट्रपिता की नौ फुट की इस प्रतिमा के अनावरण के लिए आयोजित समारोह में भारत के वित्त मंत्री अरुण जेटली, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री डेविड कैमरन, हिन्दी सिनेमा के महानायक अमिताभ बच्चन और गांधीजी के पोते गोपाल कृष्ण गांधी व इस प्रतिमा के लिये धन संग्रह अभियान से जुड़ॅ सर मेघनाद देसाई मौजूद थे.इस अवसर पर ब्रिटिश प्रधान मंत्री ने कहा, \'नौ फीट ऊँची यह मूर्ति दुनिया के राजनीतिक इतिहास के सबसे महान व्यक्तियों में से एक को श्रद्धांजलि देने का सबसे बेहतरीन तरीका है, उन्होने कहा\' पार्लियामेंट स्क्वेयर में गांधी जी की मूर्ति स्थापित होना उनके महान संदेशों का प्रतीक है जो उन्होंने विश्व को दिए। यह विश्व के सबसे पुराने और सबसे बड़े लोकतंत्र के बीच गहरी दोस्ती को मजबूत करेगी। गांधी ने कहा था कि हमें मानवता पर विश्वास बनाए रखना होगा, यह एक सागर की तरह है। कुछ बूंद पानी गंदा होने से पूरे समुद्र को गंदा नहीं कहा जा सकता।\" \'ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कहा, \" महात्मा गांधी एक प्रेरणा हैं। अहिंसा के प्रति उनका रुख न सिर्फ ब्रिटेन और भारत, बल्कि विश्व के लिए हमेशा एक विरासत के रूप में रहेगा। वह महान दृष्टिकोण वाले व्यक्ति थे और उनके कई कथन मौजूदा समय में प्रासंगिक बने हुए हैं।
जेटली और कैमरन और ने गांधी के सबसे प्रिय भजन ‘रघुपति राघव राजा राम’ के उच्चारणों के बीच संयुक्त रुप से प्रतिमा का अनावरण किया. इस मौके पर कैमरन ने गांधी के कुछ प्रसिद्ध शब्दों का उल्लेख करते हुए कहा कि गांधी की शिक्षाएं आज भी प्रासंगिक हैंउन्होंने कहा, \'भारत के साथ हमारे संबंध हमेशा से करीबी रहे हैं और समानता के साथ परस्पर सम्मान, सहयोग एवं व्यापार और निस्संदेह रूप से ब्रिटेन में रहने वाले 15 लाख भारतीयों के माध्यम से इनका प्रगाढ़ होना जारी है, जिन्होंने उस ब्रिटेन के निर्माण में बहुत योगदान दिया है जो आज वह है, और यह दोनों देशों को उनके लाभ के लिए करीब लाया है।
इस अवसर पर अमिताभ बच्चन ने कहा, \'भविष्य को लेकर आज जितनी अटकलें लग रही हैं उतनी शायद कभी नहीं लगी. क्या हमारी दुनिया में हमेशा ऐसी ही हिंसा रहेगी, क्या ऐसी ही ग़रीबी रहेगी. अगर कोई बदलाव आएगा तो कैसे आएगा, युद्ध से या शांति के मार्ग पर चलकर.\'
अनावरण से पहले अरुण जेटली ने कहा, \'कुछ लोगों को यह व्यंग्यात्मक लग सकता है कि जिस देश में गांधी जी को अर्धनग्न फ़कीर कहकर संबोधित किया गया था, आज वहीं उनकी मूर्ति लगाई जा रही है. लेकिन जिस तरह से उन्होंने आज़ादी की लड़ाई लड़ी वह अतुलनीय है\' गौरतलब है कि कभी ब्रिटेन के पूर्व पीएम विंस्टन चर्चिल गांधीजी को कभी \'अर्धनग्न फकीर\' कहा थागांधी की यह मूर्ति ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री विंस्टन चर्चिल की बगल मे ही लगी है इनके अलावा पार्लियामेंट स्क्वायर मे नेल्सन मंडेला,अब्राहम लिंकन और बेंजामिन डिज़रायली जैसे महान नेताओं की प्रतिमाएं भी लगी हुई हैं.
गौरतलब है कि दक्षिण अफ्रीका से भारत लौटने के 100 साल पूरे होने के मौके पर यह प्रतिमा लगाई गयी है, महात्मा गांधी की इस प्रतिमा का प्रेरणा स्त्रोत 1931 में 10, डाउनिंग स्ट्रीट में लिए गया एक फोटो है। 1931 में लंदन में गांधी जी सेकंड राउंड टेबल कॉन्फ्रेंस में हिस्सा लेने के लिए डाउनिंग स्ट्रीट गए थे। उसी वक्त ये फोटो खींची गई थी।
गांधी स्टैचू मेमोरियल ट्रस्ट को मिले 10 लाख पाउंड से भी ज्यादा रकम से इस मूर्ति का निर्माण किया गया है। इस ट्रस्ट में कई भारतीयों सहित इस्पात उद्योगपति लक्ष्मीनिवास मित्तल ने एक लाख पाउंड और केवी कामत की अगुआई वाले इन्फोसिस बोर्ड ने 250,000 पाउंडका सहयोग दिया है। मूर्ति की ऊंचाई 9 फीट (2.75 मीटर) है। ट्रस्ट के फाउंडर-चेयरमैन लॉर्ड मेघनाद देसाई ने कहा, \'\'पार्लियामेंट स्क्वेयर में गांधी की मूर्ति स्थापित होना एक महान काम है। लंदन उनके प्रिय शहरों में से एक था। वह पहले और इकलौते भारतीय होंगे, जिन्होंने कभी कोई प्रशासनिक पद नहीं स्वीकार किया, लेकिन आज उनकी मूर्ति स्थापित की जा रही है।\'’\'
ब्रिटेन के मशहूर मूर्तिकार फिलिप जैकसन ने गांधी जी की मूर्ति का निर्माण किया है। यह मूर्ति 9 महीने मे बनकर तैयार हुई है. वी एन आई