लंदन 14 नवंबर (वीएनआई) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज यहां भारतीय संविधान के निर्माता और दलितों के मसीहा डॉ. भीमराव अंबेडकर को समर्पित एक इमारत का उद्घाटन किया। यह वही इमारत है, जहां भारतीय संविधान के जनक बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर 1921-22 में लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स में पढ़ाई के दौरान रहते थे।
यह इमारत किंग हेनरी रोड पर स्थित है। छह कमरों वाले स्मारक में एक प्रदर्शनी तथा प्रवास के दौरान अंबेडकर द्वारा इस्तेमाल में लाई गई कुर्सी है। उत्तर पश्चिम लंदन में 10 किंग हेनरी रोड स्थित यह तिमंजिला िमारत 2050 वर्ग फुट में फै्ली हुई है। अगस्त में इसे 32 लाख से 40 लाख पौंड की अनुमानित लागत में अधिग्रहित किया गया और यह खर्च महाराष्ट्र सरकार ने उठाया। नया स्मारक 'डा. बाबा साहब अंबेडकर संग्रहालय' के नाम से जाना जाएगा। यह घोषणा की गई कि लंदन या यूरोप के विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले दो भारतीय विद्यार्थियों के रहने का इंतजाम इस इमारत में किया जाएगा।
गौरतलब है एक मंजिल, जिसका अवलोकन आज मोदी ने किया, उसे 20 नवंबर तक आम जनता के लिए खोला जाएगा। हालांकि इसके बाद मरम्मत और रखरखाव कार्य के लिए इसे बंद कर दिया जाएगा और फिर इसे शायद नए वर्ष से इसे दोबारा जनता के लिए खोल दिया जाएगा।
पीएम मोदी ने अंबेडकर की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की।, प्रधानमंत्री कार्यालय ने ट्वीट में स्मारक का उद्घाटन करते हुए मोदी के साथ महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की तस्वीरें भी पोस्ट की।उद्घाटन समारोह में मौजूद देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि बाबा साहब से जुड़े कुछ बहुत ही विशेष दस्तावेजों और पत्रों को इस संग्रहालय में रखा जाएगा। इनमें उनके कुछ लेख भी शामिल हैं। इसमें सबसे महत्वपूर्ण वह पत्र है, जो डॉ. अंबेडकर ने जर्मन भाषा में बान विश्वविद्यालय को लिखा था। उन्होंने कहा कि यह पत्र उनकी व्यापक विद्वता को दर्शाता है। उन्होंने उम्मीद जतायी कि यह संग्रहालय युवा छात्रों और दुनिया के अन्य लोगों के लिए एक प्रेरणा स्रोत बनेगा।
अंबेडकर की मृत्यु साल 1956 में 65 वर्ष की आयु में हो गई थी। मरणोपरांत उन्हें साल 1990 में भारत के सबसे शीर्ष सम्मान भारत रत्न से नवाजा गया।