लखनऊ, 12 जून (वीएनआई)| बसपा सुप्रीमो और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने न्यायपालिका में नियुक्तियों के मामले को लेकर आज केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद पर निशाना साधते हुए कहा कि सरकार का रवैया न्यायपालिका को नीचा दिखाने और अपमानित करने वाला है।
मायावती ने आज एक बयान जारी कर कहा कि न्यायपालिका के साथ सरकार का इस तरह का बर्ताव सही नहीं है। केंद्र सरकार के ऐसे रवैये के कारण न्यायपालिका आज अभूतपूर्व संकट झेल रही है। उन्होंने कहा कि कहा कि अगर वह न्यायपालिका का सम्मान नहीं कर सकते, तो कम से कम उसका अपमान भी न करें। सरकारी नियुक्तियों में भाजपा सरकार की नीतियों को कांग्रेस जैसी बताते हुए बसपा प्रमुख मायावती ने कहा कि दलित, आदिवासियों व पिछड़े वर्ग के अफसरों की तैनाती करने में इस सरकार का रवैया भी द्वेषपूर्ण है। नीति निर्धारण मामलों के साथ न्यायपालिका में समाज के वंचित वर्ग का प्रतिनिधित्व नहीं होने के कारण भी संविधान को उसकी सही जनहिताय की मंशा के अनुरूप देश में आज तक ढाला नहीं जा सका है।
गौरतलब है कि सोमवार को कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने जजों की नियुक्ति को लेकर जारी विवाद के संदर्भ में कानून मंत्रालय की भूमिका पर कहा था कि यह महज 'पोस्ट अॅफिस' नहीं है। कानून मंत्री होने के नाते उन्हें नियुक्तियों में सुझाव देने का संवैधानिक अधिकार है।
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