नई दिल्ली, 10 अप्रैल, (वीएनआई) राफेल डील मामले में सर्वोच्च न्यायलय ने केंद्र सरकार को झटका देते हुए सरकार की आपत्तियों को दरकिनार कर मामले में रिव्यू पिटिशन पर नए दस्तावेज के आधार पर सुनवाई का फैसला किया है।
मुख्य न्यायधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय बेंच ने इस मामले में एक मत से फैसला देते हुए कहा कि जो नए दस्तावेज डोमेन में आए हैं, उन आधारों पर मामले में रिव्यू पिटिशन पर सुनवाई होगी। मुख्य न्यायधीश के अलावा इस बेंच में जस्टिस एस. के. कौल और जस्टिस के. एम. जोसेफ शामिल हैं। वहीं न्यायलय अब रिव्यू पिटिशन पर सुनवाई के लिए नई तारीख तय करेगा। वहीं केंद्र सरकार ने न्यायलय में लीक दस्तावेजों के आधार पर रिव्यू पिटिशन पर सुनवाई का विरोध किया था और कहा था कि ये दस्तावेज प्रिविलेज्ड दस्तावेज है और इस कारण रिव्यू पिटिशन खारिज किया जाना चाहिए। हालांकि सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान जस्टिस के. एम. जोसेफ ने कहा था कि आरटीआई ऐक्ट 2005 में आया है और ये एक क्रांतिकारी कदम था ऐसे में हम पीछे नहीं जा सकते। गौरतलब है न्यायलय को राफेल मामले में यह तय करना था कि इससे संबंधित डिफेंस के जो दस्तावेज लीक हुए हैं, उस आधार पर रिव्यू पिटिशन की सुनवाई की जाएगी या नहीं।
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