नई दिल्ली, 05 जून, (वीएनआई) क्रांतिकारी युवा संगठन और एसओएल के छात्रों ने बीते वीरवार को सीबीसीएस के खिलाफ दिल्ली विश्वविधालय के यूजीसी के सामने भारी विरोध प्रदर्शन किया| स्कूल ऑफ़ ओपन लर्निंग में पढ़ने वाले कॉरेस्पोंडेंस छात्रों के अन्दर गुस्सा इस बात का है कि रेगुलर कॉलेज में सीबीसीएस लाकर एसओएल छात्रों की डिग्री डीवैल्यू की जा रही है| इस सम्बन्ध में छात्रों के एक प्रतिनिधिमंडल ने यूजीसी को ज्ञापन सौंपा| ज्ञात हो कि जहाँ एक ओर रेगुलर कॉलेजों में सेमेस्टर सिस्टम है वहीँ दूसरी ओर स्कूल ऑफ़ ओपन लर्निंग में एनुअल सिस्टम है|
क्रांतिकारी युवा संगठन ने बताया कि एसओएल में तो हिंदी, इतिहास और अर्थशास्त्र जैसे विषयों में भी स्नातक करने का च्वाईस नहीं है| एसओएल के छात्र पिछले लम्बे समय से रेगुलर कॉलेज, अधिक कक्षाएं, परीक्षा सुधार के मांग को लेकर संघर्षरत हैं परन्तु कोई सुधार नहीं लाया जाता है| सुधार के नाम पर उनके कोर्सों को डीवैल्यू करने की कोशिश जरूर की जाती है| ज्ञापन में इस बात को भी उठाया गया है कि जिस तरीके से यूजीसी उच्च शिक्षण संस्थानों को फंड्स देती है उसी प्रकार स्कूल ऑफ़ ओपन लर्निंग को क्यों नहीं देती| स्कूल ऑफ़ ओपन लर्निंग देश का अकेला सरकारी उच्च शिक्षण संस्थान है जो यूजीसी के पैसा से नहीं चलता| स्कूल ऑफ़ ओपन लेर्निंग अपने सारे फंड्स गरीब छात्रों से फीस के रूप में लेता है और उन पैसों से छात्र-कल्याण का कोई कार्य नहीं करता|