नई दिल्ली,1 फरवरी अनुपमा जैन /वीएनआई- गुजरात के 'ग्रीन एंबेस्डर' के रूप में चर्चित जीतूभाई पटेल ने अमाज की तमाम रूढ़िवादी रस्मो को दरकिनार कर अपने बेटे रवि और नववधू मोनाली पटेल को आशीर्वाद देने के लिए विधवाओ को आमंत्रित किया और नव विवाहित दंपत्ति से अाशीर्वाद लिया भारत में जहां आज भी रूढ़ीवादी विचारधारा के लोग किसी शुभकार्य में विधवा महिलाओं की मौजूदगी को अशुभ मानते हैं, यहाँ तक की माँ भी इस तरह के आयोजनो में रस्मे निभाने से बचाती रहती है या उन्हें दूर रखा जात्ता है.लेकिन गुजरात के इस व्यापारी ने इस कुरीति को दरकिनार करते हुए अपने बेटे की शादी में 18,000 विधवाओं को आशीर्वाद देने के लिए आमंत्रित किया।
जीतूभाई ने कहा, ‘यह मेरी दिली ख्वाहिश थी कि नए जोड़े को विधवा महिलाएं आशीर्वाद दें, जिनकी समाज में अनदेखी की जाती है। शुभ मौके पर उनकी उपस्थिति को अशुभ माना जाता है, लेकिन मैं यह साबित करना चाहता था कि यह मान्यता अंधविश्वास से अधिक कुछ नहीं हैं।’
शादी में आईं इन महिलाओं को एक कंबल और एक पौधा इस वादे के साथ दिया गया कि वे इनका खयाल रखेंगी। इन महिलाओं को जीतूभाई की तरफ से एक एक दुधारू गाय भी भेंट की गई ताकि वे आत्मनिर्भर बन पाएं।ये महिलाएं गुजरात के बनासकांठा, मेहसाना, साबरकांठा, पाटन और अरावली जिलों से आईं थीं।
मेहसाना जिले के वीजापुर बस्ती की रहने वाली हंसा ठाकुर ने कहा, ‘अब मैं एक अच्छी जिंदगी जी सकती हूं , आत्म निर्भर बन सकती हूँ.क्योंकि मेरे पास एक गाय है। मैंने कभी नहीं सोचा था कि एक विधवा को भी इतना सम्मान मिलेगा, मैंने कभी भी इसकी उम्मीद नहीं की थी।’। हमारा देश बदल रहा है क्योंकि लोगों की सोच बदल रही है . वी एन आई