नई दिल्ली, 20 अगस्त (वीएनआई)| भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के नए गवर्नर उर्जित आर. पटेल होंगे। वह वर्तमान गवर्नर रघुराम राजन के बाद 24वें गवर्नर रूप में इस पद को संभालेंगे। रघुराम राजन का कार्यकाल चार सितंबर को समाप्त हो रहा है।
एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने उर्जित पटेल की नियुक्ति को मंजूरी दी है। उनका कार्यकाल तीन वर्ष का होगा। राजन का कार्यकाल भी तीन वर्ष का रहा। बयान में कहा गया, "कैबिनेट सचिव के नेतृत्व वाली वित्त क्षेत्र नियामकीय नियुक्ति खोज समिति की सिफारिश के आधार पर इस नियुक्ति को मंजूरी दी गई है। खोज समिति ने व्यापक अनुसंधान के आधार पर कैबिनेट की नियुक्ति समिति को नाम की सिफारिश की। वहीं आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि कई नामों पर विचार किया गया, जिसमें स्टेट बैंक की प्रमुख अरुं धती भट्टाचार्य, पूर्व नौकरशाह विजय केलकर एवं अशोक चावला और अर्थशास्त्री राकेश मोहन, अशोक लाहिड़ी तथा सुबीर गोकर्ण शामिल रहे। जबकि राजन ने जून माह में ही अपने सहकर्मियों को एक अभूतपूर्व पत्र लिखकर दूसरे कार्यकाल के लिए अनिच्छा जाहिर कर दी थी, जिसके बाद से ही अटकलें लगाई जा रही थीं कि आखिर राजन का उत्तराधिकारी कौन होगा। राजन अब दोबारा अकादमिक पेशे में शिकागो युनिवर्सिटी लौटने वाले हैं।
52 वर्षीय उर्जित पटेल जानेमाने अर्थशास्त्री, बैंकर और सलाहकार हैं। इन दिनों वह रिजर्व बैंक में उपगवर्नर हैं और मुख्यतया मौद्रिक नीति का जिम्मा संभालते हैं। पटेल ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय से एम. फिल हैं और उन्होंने येल युनिवर्सिटी से पीएचडी किया है। पटेल ने बीते गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्तमंत्री अरुण जेटली से मुलाकात की थी, यह तभी तय हो गया था कि उन्हें कोई बड़ी जिम्मेदारी मिल सकती है। महंगाई दर को नियंत्रण में रखने की विशेषज्ञता की वजह से उन्हें इस पद के लिए चुना गया है।
राजन और पटेल वाशिंगटन में अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) में साथ काम कर चुके हैं। पटेल राजन के करीबी माने जाते हैं। हालांकि पटेल राजन से पहले रिजर्व बैंक में आ गए थे। रिजर्व बैंक में आने के बाद राजन ने जब 2013 में मौद्रिक नीति के लिए समिति गठित की थी, तब उन्होंने इस समिति का अध्यक्ष उर्जित पटेल को बनाया था। रिजर्व बैंक में पटेल की सेवा को विस्तार देते हुए इस साल जनवरी में उन्हें अगले तीन साल के लिए नियुक्त किया गया था। रिजर्व बैंक में कुछ वरिष्ठ अधिकारियों के मुताबिक, पटेल को 1996-97 में अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष ने भारत में ऋण, मुद्रा बाजार के साथ ही बैंकिंग और सामाजिक सुरक्षा सुधार पर सलाह देने के लिए चुना था। पटेल ने प्राइवेट कंपनियों में भी काम किया है, जिनमें रिलायंस इंडस्ट्रीज, इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कंपनी और गुजरात स्टेट पेट्रोलियम कॉरपोरेशन शामिल हैं।