धर्मशाला, 17 जुलाई (वीएनआई)| तिब्बत की राजधानी ल्हासा से भारत में शरण लेने के लिए तिब्बती धर्मगुरु दलाई लामा की हिमालय के दुर्गम इलाकों में की गई 14 दिनों की पैदल यात्रा पर आधारित हिंदी फिल्म 'एस्केप ऑफ द दलाई लामा' का पहला भाग 15 जुलाई को टीवी पर रिलीज किया गया। दलाई लामा ने यह यात्रा आज से तकरीबन 57 साल पहले की थी।
मुंबई स्थित रंगरेज फिल्म्स द्वारा निर्मित फिल्म 'एस्केप ऑफ द दलाई लामा' का दूसरा और अंतिम भाग 22 जुलाई को 'एपिक' चैनल पर प्रसारित किया जाएगा। हिमाचल प्रदेश की मनोरम स्पीति घाटी में फिल्माई गई फिल्म मात्र 15 दिनों में पूरी कर ली गई थी। फिल्म विश्वभर में सम्मानित बौद्ध भिक्षु की अद्भुत जिंदगी और संघर्ष पर आधारित है। फिल्म में तिब्बत में दलाई लामा की जिंदगी से लेकर चीनी उत्पीड़न से बचने के लिए 24 साल की उम्र में पैदल ही हिमालय पार करने और आखिरकार मार्च 1959 में भारत में शरण लेने की उनकी 14 दिनों की दुर्गम यात्रा की कहानी दर्शाई गई है।
फिल्म 'एस्केप ऑफ द दलाई लामा' का निर्माण निधि तुली और अशरफ ने किया है, जिन्होंने इससे पहले तिब्बती मुद्दे पर वृत्तचित्र 'आर्ट इन एक्जाइल' का भी निर्माण किया था। फिल्म में दार्जलिंग निवासी दिल्ली विश्वविद्यालय के छात्र तेनजिन डाल्हा ने युवा दलाई लामा की भूमिका निभाई है। तेनजिन इससे पहले बॉलीवुड फिल्म 'मार्गेरिटा विद स्ट्रॉ' में भी अभिनय कर चुके हैं। डाल्हा के अतिरिक्त फिल्म के अन्य सभी कलाकार तिब्बत के शौकिया कलाकार हैं, जिनमें से कुछ ने इससे पहले कभी भी अभिनय नहीं किया है। फिल्म दो भागों में दर्शाई जाएगी। फिल्म का पहला भाग 15 जुलाई को प्रसारित किया गया था। इसका दूसरा भाग 22 जुलाई को प्रसारित किया जाएगा।