पेरिस 14 नवंबर (अनुपमा जैन,वीएनआई) फ्रांस की राजधानी पेरिस में शनिवार सुबह(भारतीय समायानुसार) सात अलग-अलग जगह हुई गोलीबारी और धमाकों हुए, पुलिस के अनुसार इसमे 153 से ज़्यादा लोग मारे गए हैं सैकड़ों लोग घायल बताए जा रहे हैं। फ्रांस पुलिस के अनुसार, बंदूकधारियों ने पहले पेरिस की सड़कों पर गोलियां और बम बरसाते हुए हमले किए। इसके बाद हमलावर बाटाक्लान कॉन्सर्ट हॉल में घुस गए, जहां 112 से अधिक लोगों को बंधक बनाकर उनकी हत्या कर दी गई। बताया जाता है हमलावरों के पास AK 47 राईफले भी थीं, पुलिस ने अब तक 3 हमलावरों को मार गिरा चुकी है।फ़्रांस के राष्ट्रपति फ़्रांस्वा ओलांद ने राष्ट्र के नाम संदेश में आपातकाल की घोषणा की है, फ़्रांस की सीमा को भी सील कर दिया गया है.पेरिस मे उस समय रात के क़रीब नौ बजे ्थे,हालांकि इस घटना की ज़िम्मेदारी किसी ने नहीं ली है, लेकिन माना जा रहा है कि इसके पीछे इस्लामिक स्टेट का हाथ हो सकता है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार बंदूकधारियों ने सैन्ट डेनिस मे स्टेड द फ्रांस फुटबॉल स्टेडियम और एक बार में धमाके किए, वहीं एक रेस्टोरेंट में गोलीबारी की। धमाके के वक्त स्टेडियम में फ्रांस और जर्मनी के बीच फ्रैंडली मैच चल रहा था। धमाके के आवाज स्टेडियम में भी सुनाई दी। इसके बाद मैच को रोक दिया गया। वहां से भी तीन लोगों के मारे जाने की ख़बर है. कहा जा रहा है कि यहां पर आत्मघाती हमला हुआ था.फ़्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद भी मैच देख रहे थे लेकिन उन्हें सुरक्षित निकाल लिया गया. मौके पर फ्रांस पुलिस और एंटी टेररिस्ट के जवान पहुंच चुके हैं। ऐसा अंदेशा लगाया जा रहा है कि पेरिस के आस-पास के इलाकों में भी गोलीबारी हुई है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर लिखा है, "पेरिस से आ रही ख़बर दर्दनाक और दुखद है. मारे गए लोगों के साथ हमारी संवेदनाएँ हैं. इस घड़ी में हम पेरिस के लोगों के साथ हैं."
अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा ने बयान जारी कर पैरिस में हुए हमले की निंदा की है। उन्होंने कहा कि, " फ्रांस में हुए हमले बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। यह मानवता पर हमला है। फ्रांस हमारा पुराना साथी है। इस हमले की घड़ी में हम उसके साथ खड़े हैं"।ब्रिटेन के प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने भी ट्वीट किया है, ''पेरिस में आज हुई घटना से मैं स्तब्ध हूं. हम लोग पूरी तरह से फ्रांस के लोगों के साथ हैं. हमसे जो भी मदद हो सकेगी, हम करेंगे.''
गौरतलब है कि कुछ महिनों पहले फ्रांस में आईएसआईएस के आतंकियों ने एक न्यूज़पेपर और कोशर ग्रोसरी में हमला किया था, जिसमें 20 लोगों की मौत हुई थी। इस हमले के कुछ हफ़्तों बाद आतंकियों ने चार्ली हेब्दो नाम की मैगजीन के दफ्तर को निशाना बनाया था, इस हमले में 13 पत्रकारों की मौत हो गई थी।