तुर्की मे तख्तापलट की नाकाम कौशिश के बाद सरकार का विद्रोहियो के खिलाफ कड़ी सख्ती जारी

By Shobhna Jain | Posted on 17th Jul 2016 | VNI स्पेशल
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अंकारा,17 जुलाई(शोभनाजैन/वीएनआई) तुर्की में तख्तापलट की नाकाम कौशिश के बाद तुर्की मे सरकार का विद्रोहियो को दबाने और उनके खिलाफ धर पकड़ का अभियान तुर्की मे कड़ी सख्ती से जारी है.इस विद्रोह मे अब तक 104 विद्रोहियों समेत 265 लोगों की मौत हुई है. 1400 से ज्यादा घायल हुए हैं. बगावत करनेवाले 3000 से ज्यादा अफसर व जवान गिरफ्तार किये गये हैंसाथ ही विपक्ष से जु्ड़े न्यायपालिका के लगभग 2800 न्यायाधीशो की गिरफ्तारी के आदेश दिये है.हालांकि विदेश नीति के अनेक जानकारो का मानना है कि राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोगनइस की सरकार द्वारा इस तरह की सख्ती लोकतंत्र के लिये शुभ संकेत नही है. उनका मानना है कि विद्रोह के नाकाम होने के बाद अब देखना यह है कि आगे का घटनाक्रम कैसे होता है राष्ट्रपति एर्दोगनइस ने सख्त तेवर अपनाते हुए चेतावनी दी किविद्रोहियो को इस कृत्य के लिये भारी कीमत चुकानी होगी. उन्होने कहा कि दरसल सेना से असमाजिक तत्वो को निकालने का यह अल्लाह ने हमे मौका दिया है.वहीं, राष्ट्रपति रेचप तैयब अर्दोआन की अपील पर हजारों लोग तख्तापलट षड्यंत्रकारियों के खिलाफ सड़कों पर उतरे और वे सैन्य विद्रोहियो की खुद धर पक्ड़ कर रहे है. गौरतलब है कि राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोगनइस की तेरह वर्ष पुरानी सरकार कि यह सबसे बड़ी 'खूनी चुनौती ' है. इसी बीच राष्ट्रपति अर्दोआन ने अपने पुराने विद्रोही तथा फिलहाल अमरीका मे डेरा डाले हुएफतहुल्लाह गुलेन पर तख्ता पलट की साजिश रचने का आरोप लगाया है तथा अमरीका से उसे तुर्की को लौटा देने की मॉग की है तुर्की के कार्यवाहक सेना प्रमुख ने कहा है कि सेना के अंसतुष्ट सैनिकों की ओर से राष्ट्रपति एर्दोगन से सत्ता कब्जाने की कोशिश को विफल कर दिया है. बाद में पूरे देश पर नियंत्रण फिर हासिल कर लिया है. वहीं, राष्ट्रपति रेचप तैयब अर्दोआन की अपील पर हजारों लोग तख्तापलट षड्यंत्रकारियों के खिलाफ सड़कों पर उतरे. इस बीच स्पोर्ट्स इवेंट के लिये गये 148 छात्र समेत करीब दो सौ भारतीय फंसे हुए हैं. विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने दिल्ली में कहा कि सभी सुरक्षित हैं, उनकी वापसी के प्रयास किये जा रहे हैं. इधर, तुर्की की संसद के विशेष सत्र में तख्तापलट की निंदा की है. देश के प्रधानमंत्री बिनाली यिलदीरिम ने संसद को जानकारी दी कि विद्रोही सैनिक नहीं, बल्कि चरमपंथी हैं. तुर्की संसद की आपात बैठक में सभी दलों ने एक स्वर से तख्तापलट की निंदा की.्वी एन आई

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