नई दिल्ली 9 मार्च (वीएनआई) ऑस्ट्रेलिया के विक्टोरिया प्रांत में आजकल भारतीय-माओरी मूल एक 12 वर्षी्या बच्ची 'होप केरेटा' धूम मचा रही है, महज 2 महीनों से क्रिकेट खेल रही होप इन दिनो मेलबर्न शहर के क्रिकेट खिलाड़ियों और प्रशंसको के बीच एक जाना पहचाना नाम बनती जा रही हैं
बीबीसी की वेबसाईट के अनुसार होप का क्रिकेटर बनना केवल एक संयोग था, होप के भाई इस टीम से खेलते थे और एक दिन जब ज़िला प्रतियोगिता के पहले टीम के खिलाड़ी पूरे नहीं पड़े तब होप केरेटा पास ही खड़ी थीं टीम मे शामिल होने के लिये हिचकिचाते हुए होप ने अपना हाथ उठाया और लड़कों की टीम उन्हे खुशी खुशी शामिल भी कर लिया होप ने पहले ही मैच में मध्यक्रम की बल्लेबाज़ी को संभाल लिया और तेज़ गेंदबाजों को भी सफल नहीं होने दिया. होप अब डैंडेनौंग पश्चिम में लड़कों की अंडर-13 टीम से खेल रही हैं
प्राप्त जानकारी के अनुसार शुरुआत में तो होप को भी यकीन नहीं आ रहा था लेकिन अब वे क्रिकेट का मज़ा लेने लगी है ,अब उनका सपना यही है कि एक दिन ऑस्ट्रेलियाई महिला टीम के लिए खेल सकें. गौरतलब है कि इन दिनों होप केरेटा ने अपने इलाके के सभी बड़े गेंदबाजों को अपनी बल्लेबाज़ी से मुश्किल मे डाला हुआ हैं . वो ये कि अपना छह घंटे का स्कूल ख़त्म करने के बाद होप दो घंटे क्रिकेट का अभ्यास करती हैं.
दिल्चस्प बात है कि जाने माने ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटर शेन वॉर्न भी होप के गृह्नगर के पास ही के रहने वाले हैं.
हालांकि होप अभी तक भारत नही आईं हैं, लेकिन उनके पिता को लगता है कि होप में उनका भारतीय अंश है और उसने क्रिकेट विरासत में ले लिया है .होप के पिता युवराज घलीद जिनके पूर्वज राजस्थान के रहने वाले थे, वे भी अब अपनी बेटी को क्रिकेट से जुडी हर सुविधा दिलाने के लिए प्रयासरत हैं.उन्होंने कहा, "मेरा सपना था कि होप एक सफल धावक बने लेकिन उसने क्रिकेट में अपने जौहर दिखा दिए. मेरी पैदाइश न्यूज़ीलैंड में हुई तो मैं सिर्फ़ रग्बी खेलता रहा. युवराज घलीद इस बात से बेहद संतुष्ट है कि होप ने स्थानीय क्लब हैम्पटन के ख़िलाफ़ शतक भी बनाया