नई दिल्ली, 15 अगस्त, (वीएनआई) देश के स्वतंत्रता के 75वें वर्ष के मौके पर आज प्रधानमंत्री मोदी ने लालकिले से नौवीं बार तिरंगा फहराया है। प्रधानमंत्री मोदी ने पंचप्रणों के माध्यम से आगे बढ़ने का संकल्प लिया और बीते दशकों में भारत में हुई प्रगति का जिक्र भी किया है और बताया है कि भारत के पास कितनी क्षमता है, जिसकी मदद से हर लक्ष्य को पूरा करना संभव है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज स्वतंत्रता दिवस के मौके पर अपने 83 मिनट के भाषण में आने वाले 25 वर्षों के लिए देश का एजेंडा तय करने की कोशिश की है। मतलब, जब देश आजादी के 100 वर्ष पूरे करेगा तो वह कैसा होगा? दुनिया में उसका कैसा स्थान होगा। क्योंकि, इसमें कोई दो राय नहीं कि सात सौ-आठ सौ वर्षों की गुलामी की जंजीर तोड़कर निकलने के बाद और देश के विभाजन का असहनीय दर्द झेलने के बावजूद भारत ने बीते 75 वर्षों में अनमोल प्रगति की है। इन साढ़े सात दशकों में आधुनिक भारत का बुनियाद इतना मजबूत जरूर हो चुका है कि आने वाले ढाई दशकों में यह कामयाबी के और झंडे गाड़ सकता है।
प्रधानमंत्री ने बताया है कि देश किस तरह से आगे बढ़ा है। भारत की विविधता,जो गैरों को बोझ लगती थी, उसी शक्ति की बदौलत भारत ने सफलता प्राप्त की है। उन्होंने कहा, "दुनिया को पता नहीं था कि भारत के पास एक इंहेरेंट सामर्थ्य है, एक संस्कार सरिता है, एक मन मस्तिष्क् का, विचारों का बंधन है; और वह है भारत लोकतंत्र की जननी है, मदर ऑफ डेमोक्रेसी है और जिनके जहन में लोकतंत्र होता है, वे जब संकल्प कर के चल पड़ते हैं, वो सामर्थ्य दुनिया की बड़ी-बड़ी सल्तनतों के लिए भी संकट का काल लेकर के आती है। ये मदर ऑफ डेमोक्रेसी, ये लोकतंत्र की जननी, हमारे भारत ने सिद्ध कर दिया कि हमारे पास एक अनमोल सामर्थ्य है।
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