नई दिल्ली, 01 जून, (वीएनआई) क्रांतिकारी युवा संगठन और एसओएल के छात्रों ने आज एसओएल बिल्डिंग के बाहर भारी संख्या में इकट्ठा होकर पिछले दिनों एसओएल के बी.कॉम. फाइनल ईयर में लगातार तीन दिन तक पेपर लीक होने पर एसओएल प्रशासन के छात्र-विरोधी रवैये और चल रही धांधलियों के खिलाफ नारे लगाते हुए एसओएल के डायरेक्टर सी.एस. दुबे के इस्तीफे की मांग की।
क्रांतिकारी युवा संगठन के अनुसार एसओएल के बी.कॉम. फाइनल इयर की परीक्षाओं के पेपर लगातर तीसरे दिन “व्हाट्स एप्प” पर लीक हुए| बुधवार को इकोनॉमिक्स, गुरुवार को बिज़नेस इंग्लिश, शुक्रवार को फाइनेंसियल मैनेजमेंट, परन्तु दिल्ली विश्वविद्यालय- एसओएल प्रशासन ने इन घटनाओं की रोकथाम के लिए कोई कदम नहीं उठाया है| साथ ही संगठन ने बताया कि पिछले सालों में एसओएल प्रशासन के कुप्रबंधन के कारण न सिर्फ एग्जाम के दौरान गड़बड़ी की शिकायतें बढ़ी हैं बल्कि रिजल्ट देर से घोषित करने, पीसीपी क्लासेज के मेसेज भेजने में धांधली, स्टडी मटेरियल की गुणवत्तामें खराबी आदि समस्याओं से भी छात्र परेशान रहे हैं| आगे संगठन ने बताया कि साल में 10 दिन से भी कम क्लासों में पूरे सिलेबस की पढाई करवाने की जो उपलब्धि एसओएल नें हासिल की हुई है उसके कारण कोर्सों का मार्किट वैल्यू बेहद कम है और पेपर लीक और रेगुलर कॉलेजों में सीबीसीएस लाने जैसे घटनाओं के कारण कॉरेस्पोंडेंस छात्रों के कोर्सों की वैल्यू और घटेगी|
केवाईएस के प्रवक्ता और एसओएल में पढने वाले पोलिटिकल साइंस के छात्र रोहित सिंह नें छात्रों की एग्जाम से जुड़ी अन्य समस्याओं को रखते हुए कहा कि “एसओएल में छात्रों के हितों को पूरी तरह से दरकिनार किया जाता रहा है, छात्रों के सेंटर्स बहुत दूर दिए जाते हैं वे 2-3 घंटे सफ़र करके अपने एग्जाम सेंटर तक पहुचते है| इसके आलावा फर्स्ट, सेकंड, थर्ड इयर की सभी कोर्सेज के रिजल्ट देर से घोषित किये जाते हैं| साथ ही उन्होंने बताया कि लेट रिजल्ट की समस्या के कारण फाइनल इयर के छात्र आगे एमए, एम.कॉम. के फॉर्म समय से नहीं भर पाते हैंजिससे उनका बहुमूल्य एक वर्ष बर्बाद होता है|