नयी दिल्ली,१५ नवंबर(वी एन आई)कल गुरू परब की एक दिन की छुट्टी के बाद आज फिर बैंक खुल गए हैं,लेकिन बैंकों के खुलने से पहले ही लोग कल रात से लंबी कतार लगाकर नोट बदलने और पैसे निकालने के लिए कतारबद्ध खड़े पाए गए.हालत यह थी कि अनेक लोग कल रात से कंबल और रजाईयॉ लिये रात से ही कतार मे लग गये जबकि अनेक महिलाये गोद मे बच्चो को पकड़े सुबह ५-६ बजे से कतार मे आ कर लग गई. एटीएम के सामने का नजारा भी कुछ ऐसा ही नजर आ रहा है हालांकि आज एटीएम से 500 और 2000 के नोट निकलने की खबर है. बड़े नोट के एटीएम से निकलने के बाद लोगों को हो रही दिक्कत के कम होने की उम्मीद जतायी जा रही है.आज से बुजुर्गो और दिव्यांगो के लिये अलग से लाईने लगाई जा रही है.प्रधान मंत्री मोदी की मॉ हीराबेन भी आज अहमदाबाद मे एक बेंक मे अपने ४ हजार के पुराने नोट बदलवाने पहुंची. वे अपने दो संबंधियो के साथ बेंक पहुंची.वैसे वरिष्ठ नागरिको के लिये हस्ताक्षर या अपना अंगूठा लगवा कर अपने परिजनो से अपना धन बेंक से निकलवाने की सुविधा है.
इधर, पांच सौ और एक हज़ार रुपये के नोटों को बंद करने के फ़ैसले के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट आज सुनवाई कर सकता है.
गुरुनानक जयंती पर बैंकों के बंद रहने के चलते राजधानी दिल्ली सहित पूरे देश भर में सोमवार को एटीएमों के बाहर लोगों की लंबी लंबी कतारें लग गयीं. एटीएम में जल्द ही पैसे खत्म हो जाने से लोगों की परेशानिया बढ़ती जा रही हैं. रोज नकदी की होती कमी के बीच बैंकों एवं एटीएमों से पैसे की निकासी की सीमा बढ़ाने के सरकार के नये फैसले से लोगों पर कोई प्रभाव पड़ता नहीं दिखा.
लाईन मे पिछले तीन दिन से लग कर वापस खाली हाथ लौटने वाले दिल्ली वासी महेश के अनुसार 'दिल्ली एटीएम में पैसे के लिए लोग तीन दिन से इंतजार कर रहे हैं. आज सुबह भी यहां लंबी कतार देखी गई.'गोद मे बच्चा पकड़े वही खड़ी एक पर्दानशींं महिला ने अपना दर्द बयान करते हुए कहा कि तीन दिन हो गए रोज आती हूं और लौट जाती हूं...आज भी उम्मीद से आई हूं कि पैसे मिल जायेंगे.
कतार में ही खड़े सोनू ने कहा कि मोदी जी कहते हैं कि गरीब शांति से सो रहे हैं और अमीर नींद की गोली खाकर सो रहे हैं... लेकिन हमें देखें.. अमीर शांति से हैं और वे पैसे आसानी से फेंक सकते हैं.
नौकरी पेशा एक युवती कहा,‘रोज काम पर देर से जा रही हूं है. जिस धन को हमने खून-पसीने से कमाया है, अपने ही धन को पाने के लिए कबतक हम कतार में खड़ा हैं और भारी जरूरत होने के बावजूद हमारा पैसा हमे मिल ही नही रहा है.' कई ग्राहक तो महज कुछ 100 रुपये के नोट हासिल करने की उम्मीद में सुबह पांच बजे से ही एटीएम पर पहुंच गये हैं.
इधर, जनता को राहत पहुंचाने के उद्देश्य से केंद्र सरकार ने 500 और 1000 के बंद हो चुके पुराने नोटों से पेट्रोल पंपों, सरकारी सेवाओं के बिल भुगतान, टैक्स की अदायगी की समयावधि को गत रविवार की रात सरकार द्वारा दिये गये कुछ नये राहत कारी फैसलो के अनुसार अब 24 नवंबर तक जरूरी सेवाओं के लिए पुराने नोट मान्य रहेंगे, जिसकी समय सीमा 14 नवंबर की मध्यरात्रि को समाप्त हो रही थी. हालांकि, लोगों की परेशानी अभी खत्म नहीं हुई है. नकदी पाने और पुराने नोटों के बदले नये नोटों के लिए बैंकों और एटीएम के बाहर लंबी-लंबी कतारें लगी हैं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में रविवार की देर रात हुई बैठक में नोटबंदी से उत्पन्न स्थिति की समीक्षा की गयी और कई राहत भरे फैसले किये गये. तय हुआ कि ग्रामीण इलाकों में कैश की उपलब्धता बढ़ाने के लिए जरूरी कदम उठाये जायेंगे. ब्रांच पोस्ट ऑफिस में भी नकदी की आपूर्ति बढ़ायी जायेगी. इसमें जिला को-ऑपरेटिव बैंकों की भी मदद ली जायेगी. केंद्र ने पुराने नोटों से रेलवे टिकट बुकिंग केंद्रों, सार्वजनिक परिवहन, हवाईअड्डों पर टिकट बुकिंग, दूध केंद्रों, श्मशान या कब्रिस्तानों, डॉक्टर के परचे पर सरकारी और निजी दुकानों से दवा खरीद, एलपीजी की बुकिंग, बिजली और पानी के बिलों का भुगतान एवं भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के स्मारकों में प्रवेश टिकट की अदायगी की समयावधि को 24 नवंबर तक के लिए बढ़ा दिया है.वी एन आई