नई दिल्ली, 06 अक्टूबर, (वीएनआई) उत्तरप्रदेश के हाथरस में पीड़ित लड़की की मौत के बाद से मामले पर जारी राजनीति के बीच हाल ही में संयुक्त राष्ट्र ने भी भारत में महिलाओं के खिलाफ यौन हिंसा के मामलों को लेकर चिंता जाहिर की थी। वहीं भारत ने संयुक्त राष्ट्र के आरोपों को ख़ारिज किया है।
भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र रेजीडेंट को-आर्डिनेटर ने जो टिप्पणी की है, हम उसे अनुचित मानते हैं। संयुक्त राष्ट्र को ये पता होना चाहिए कि भारत में राज्य और केंद्र सरकार ने इन मामलों को कितनी गंभीरता से लिया है। उन्होंने साफ किया कि इस मामले में अच्छी तरह से जांच प्रक्रिया चल रही है, इस वजह से किसी भी बाहरी एजेंसी को इस तरह की टिप्पणी नहीं करनी चाहिए। भारतीय संविधान सभी नागरिकों को समानता की गारंटी देता है। एक लोकतंत्र के रूप में हमारे पास हमारे समाज के सभी वर्गों को न्याय प्रदान करने का एक समय-परीक्षणित रिकॉर्ड है।
गौरतलब है संयुक्त राष्ट्र ने हाथरस मामले में भारत के अधिकारियों को तुरंत दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की सलाह दी थी। संयुक्त राष्ट्र ने इस दौरान हाथरस और बलरामपुर की घटनाओं का उल्लेख भी किया था। जिस पर अब भारतीय विदेश मंत्रालय की प्रतिक्रिया सामने आई है.
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